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Showing posts from November 24, 2019

धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की जीवनी हिंदी में Dheerendra Krishna Shastri Biography Hindi me

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  Dheerendra Krishna Shastri का नाम  सन 2023 में तब भारत मे और पूरे विश्व मे विख्यात हुआ जब  धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के द्वारा नागपुर में कथावाचन का कार्यक्रम हो रहा था इस दौरान महाराष्ट्र की एक संस्था अंध श्रद्धा उन्मूलन समिति के श्याम मानव उनके द्वारा किये जाने वाले चमत्कारों को अंधविश्वास बताया और उनके कार्यो को समाज मे अंधविश्वास बढ़ाने का आरोप लगाया। लोग धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को बागेश्वर धाम सरकार के नाम से भी संबोधित करते हैं। धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की चमत्कारी शक्तियों के कारण लोंगो के बीच ये बात प्रचलित है कि बाबा धीरेंद्र शास्त्री हनुमान जी के अवतार हैं। धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री बचपन (Childhood of Dhirendra Shastri)  धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री का जन्म मध्यप्रदेश के जिले छतरपुर के ग्राम गढ़ा में 4 जुलाई 1996 में हिन्दु  सरयूपारीण ब्राम्हण परिवार  में हुआ था , इनका गोत्र गर्ग है और ये सरयूपारीण ब्राम्हण है। धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के पिता का नाम रामकृपाल गर्ग है व माता का नाम सरोज गर्ग है जो एक गृहणी है।धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के एक छोटा भाई भी है व एक छोटी बहन भी है।छोटे भाई का न

Dengue se kaise bachenडेंगू बुखार के लक्षण और उपचार

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 Dengue se kaise bachenडेंगू बुखार के लक्षण और उपचार डेंगू बुखार क्या है, कब से शुरू हुआ?  डेंगू बुखार क्या है, कब से शुरू हुआ?  डेंगू बुखार का नाम सुनते ही  बड़े बड़ों को भय हो जाता है क्योंकि बीते दस साल में हमने हजारों लोगों को मरते देखा है, गांव के गांव इस बुख़ार से पीड़ित हुआ और बहुत से नवजवान ,बच्चे,बूढ़े इसके गिरफ्त में आये, आज डेंगू  लगभग पूरी दुनिया में अपने मौत का शिकंजा पहुंचा चुका है ,संसार के लगभग 115 देश इस  आपदा के शिकार हैं।      डेंगू के लक्षण का पहला लिखित  वर्णन 1780 में मिलता है, परंतु डेंगू बुख़ार वास्तव में द्वितीय विश्व युद्ध के बाद से  1945 -46  से   विस्तारित होना शुरू  हुआ , फिर धीरे धीरे पूरी दुनिया में आवागमन से फैला और 2010 के बाद ये अधिक देशों में फ़ैल गया , यदि 1945 से 2010 के बीच डेंगू से होने वाली मौत की तुलना करें तो इसमें 35% बृद्धि दर्ज की गई , क्योंकि यदि सामान्य व्यक्ति भी डेंगू प्रभावित क्षेत्र में दस दिन रुक कर वापस आ जाये तो उसको भी डेंगू  होने के चाँस बढ़ जाते हैं ,और यदि उसको हुआ तो वह अपने परिवार वालों को भी वही रोग फैला सकता है,ये रोग छु